योग से मिलता है तनावमुक्त जीवन और निरोगी काया : महामंडलेश्वर स्वामी विद्यागिरि।
हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के उपलक्ष्य में महामंडलेश्वर विद्यागिरि जी महाराज ने आमजन को तनावमुक्त जीवन और निरोगी काया के लिए किया जागरूक।
दिल्ली 20 जून : योग भारतीय ज्ञान की हजारों वर्ष पुरानी शैली है। हजारों मूर्तियाँ इसके संबंध में योग की स्थिति में अभी तक प्रमाणिक रूप में है। भगवत गीता में अनेकों बार योग शब्द का उल्लेख किया गया है। योग के साक्ष्य सिंधु घाटी, वैदिक सभ्यता सहित बौद्ध एवं जैन दर्शन में किसी-न-किसी रूप में प्राप्त हुआ है। योग मनुष्य में सकारात्मकता और प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। योग मनुष्य जीवन की विसंगतियों पर नियंत्रण का माध्यम है।आज विश्वभर में योग का परचम लहरा रहा है। यह विचार प्राचीन लक्ष्मीनारायण मन्दिर गीता कालोनी दिल्ली की महंत एवं संत महामंडल की अध्यक्षा महामंडलेश्वर 1008 स्वामी विद्यागिरि जी महाराज ने अंतराष्ट्रीय योग दिवस के उपलक्ष्य में विचार व्यक्त किए।
स्वामी विद्या गिरि जी महाराज ने कहा भारतीय धर्म और दर्शन में योग का अत्यधिक महत्त्व है। आध्यात्मिक उन्नति या शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिये योग की आवश्यकता एवं महत्त्व को प्राय: सभी दर्शनों एवं भारतीय धार्मिक संप्रदायों द्वारा एकमत से स्वीकार किया गया है। जैन और बौद्ध दर्शनों में भी योग के महत्त्व को स्वीकृति प्राप्त है। वर्तमान समय अर्थात् आधुनिक युग में योग के महत्त्व में और अधिक अभिवृद्धि हुई है। मनुष्यों में बढ़ती व्यस्तता एवं मन की व्याकुलता इसके प्रमुख कारणों में से हैं। आधुनिक मनुष्य को आज योग की अत्यधिक आवश्यकता हो गई है। मन और शरीर अत्यधिक तनाव, प्रदूषण एवं भागदौड़ भरी जिंदगी के कारण रोगग्रस्त होते जा रहे हैं। व्यक्ति के अंतर्मुखी और बहिर्मुखी स्थिति में असंतुलन आ गया है।
महामंडलेश्वर विद्यागिरि ने कहा आज आधुनिक मनुष्य को योग की ज्यादा आवश्यकता है, जबकि मन और शरीर अत्यधिक तनाव, वायु प्रदूषण तथा भागमभाग के जीवन से रोगग्रस्त हो चला है। अंतरिक्ष में योग का महत्व इसलिए भी बढ़ गया है कि मनुष्यजाति को अब और आगे प्रगति करना है तो योग सीखना ही होगा। अंतरिक्ष में जाना है, नए ग्रहों की खोज करना है। शरीर और मन को स्वस्थ और संतुलित रखते हुए अंतरिक्ष में लम्बा समय बिताना है तो विज्ञान को योग की महत्ता और महत्व को समझना होगा।