हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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कुरुक्षेत्र : धर्मनगरी कुरुक्षेत्र के प्रमुख समाजसेवी स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता की 35 वीं पुण्यतिथि को परोपकार दिवस के रुप में मनाया जाएगा। पुण्य तिथि के अवसर 2 अगस्त शुकर्वार को सुबह 10 बजे कीर्ति नगर में स्थित स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता चैरिटेबल डिस्पेंसरी एवं लाइब्रेरी में कार्यकर्म शुरू हो जाएँगे इस पावन अवसर पर 19 वां रक्तदान शिविर लोकनायक जय प्रकाश अस्पताल की टीम के सहयोग से लगाया जाएगा। इतना ही नहीं परोपकार दिवस के अवसर पर परोपकार के काम किये गए 35 वी पूण्यतिथि के अवसर पर कीर्ति नगर के सरकारी स्कूल के बच्चो को को पाठ्य सामग्री , पानी कि बोतल व टिफ़िन भी वितरण किये जाएँगे | आमजन के लिए 14 वा निशुल्क जाँच शिविर डॉ. पवन बंसल बी. एस. हार्ट केयर मल्टी-स्पेशियलिटी अस्पताल कुरुक्षेत्र के डॉक्टर्स की टीम द्वारा जरुरतमंद लोगो की निशुल्क जाँच की जाएगी डॉक्टर्स की टीम में डॉ. सुरभि तिवारी स्त्री रोग विशेषज्ञ जरुरत महिलाओ का प्रसिक्षण करेंगी वही डॉ. गौरव कुमार हड्डी रोगियों कि जाँच करेंगे इस अवसर पर हृदय जांच, ईसीजी, ब्लड टेस्ट, शुगर टेस्ट, कोलेस्ट्रॉल टेस्ट आदि निशुल्क किए जाएंगे। साथ ही दवाइयां भी निशुल्क वित्रत कि जाएंगी नगर कि सभी समाज सेवी , धार्मिक संस्थाओ को इस कार्यकर्म में आमंत्रित किया गया है। इस पुण्यतिथि को ब्लिस, आशीर्वाद, समर्पण, प्राइवेट स्कूल व कई अन्य धार्मिक एवं सामाजिक संस्थाओं द्वारा संयुक्त रूप से मिलकर मनाया जाएगा। परोपकार दिवस के अवसर पर संतो का आशीर्वाद आये हुए आमजन को मिलेगा परोपकार दिवस के अवसर पर महामंडलेश्वर गीता मनीषी स्वामी ज्ञानानन्द महाराज व अनेक मठ मन्दिर आश्रमों के परमाध्यक्ष महंत बंसी पुरी जी महाराज अपने मुखारबिंद से रक्तदानियों का हौसला बड़ाएंगे। स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता चैरिटेबल डिस्पेंसरी एवं लाइब्रेरी के अध्यक्ष पंकज अरोड़ा ने कहा कि स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता की पूण्यतिथि पर श्रधासुमन अर्पित करने के लिए मीडिया जगत की जानी मानी हस्तियां भी शिरकत करेंगी। इसके अलावा नगर की जानी मानी समाजसेवी, धार्मिक संस्थाएं व अनेक गणमान्य व्यक्ति इस कार्यक्रम में शिरकत करेंगे। पंकज अरोड़ा ने बताया कि स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता का देहांत 58 वर्ष कि आयु में हो गया था। पंकज अरोड़ा बताते है कि स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता के परिवार ने 3 अगस्त 2012 को मेहरचंद मेंहदीरत्ता चैरिटेबल डिस्पेंसरी एवं लाइब्रेरी कि शुरआत कि थी। यह डिस्पेंसरी धर्मनगरी के सबसे स्लैम एरिया में बनी हुई है। अपने पिता के मिशन को कामयाब करने के लिए परिवार के सभी सदस्य बिना किसी सरकारी ग्रांट के इस प्रोजेक्ट पर कार्य कर रहे है। पुरे वर्ष इस डिस्पेंसरी एवं लाइब्रेरी में डॉक्टर्स मरीजों का इलाज निशुल्क करते है साथ ही दवाइयां भी निशुल्क वितरित करते है। पिछले 12 वर्षो में करीब 2 लाख लोगो की चिकत्सा जाँच निशुल्क हो चुकी है। अब तक 18 रक्तदान शिवर लग चुके है जिनमे 3500 से अधिक रक्तदाता रक्तदान कर चुके है। कुरुक्षेत्र के प्रसिद्ध चिकित्सक डॉ. अजय गोयल , डॉ. गीता गोयल एवं डॉ. पवन बंसल बीएस हार्ट अस्पताल के सहयोग से 13 निशुल्क चिकित्सा शिविर लग चुके है। जिनमे महंगे टेस्ट भी निशुल्क किये जाते है। अरोड़ा ने बताया कि जरूरतमंद को कापी, किताब मुफ्त देना मानो उनका शौक था। स्व. मेहर चंद मेहंदीरत्ता का सपना था कि समाज के लिए कुछ ऐसा किया जाए जिससे समाज को फायदा हो। इस कड़ी में उन्होंने कुरुक्षेत्र के कीर्ति नगर में एक जगह ली थी जहां पर आज सुचारू रूप से डिस्पेंसरी एवं लाइब्रेरी निरंतर 12 साल से चल रही है।
स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता का जन्म पाकिस्तान के पंजाब प्रान्त के जिला मियांवाली की तहसील ईशाखेल के गाँव त्रग में हुआ था उनका जन्म वर्ष 1931 में हुआ था और विभाजन के समय 1947 में जब वह 16 वर्ष के थे तो उन्होंने धर्मनगरी में किताबो का व्यवसाय शुरू किया था
कुरुक्षेत्र में मियांवाली बिरादरी को इकट्ठा करने का श्रेय भी स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता को जाता है। इन्ही के प्रयासों से पाकिस्तान के पंजाब प्रान्त के जिला मियांवाली से विभाजित हुए बहुत से लोगो का उन्होंने इकठा किया और मियांवाली बिरादरी के नाम से एक सभा भी बनाई और समाज के लिए कार्य किया और सेंकडो लोगो को रोज़गार दिया।
स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता के प्रयासों से ही 1950 के दशक में समाचार पत्र आने शुरू हुए थे और उनके ही प्रयासों से घर-घर तक समाचार पत्र पहुँचाने का कार्य किया जाता था
धर्मनगरी कुरुक्षेत्र में सबसे पहली बुक्स शॉप के साथ साथ उन्होंने 50 के दशक में उस समय की सबसे आधुनिक प्रिंटिंग प्रेस कि स्थापना कि जहाँ पर 50 से अधिक लोग कार्य करते थे इनकी प्रेस से कार्य सिख कर कुरुक्षेत्र विश्विद्यालय ने जब प्रेस लगे तो दर्जनों कारीगर कुवि को दिए गए।
हरियाणा का एकमात्र आयुर्वेद कॉलेज में लाइब्रेरी कि स्थापना में इनका बहुत बड़ा योगदान रहा।
स्वर्गीय मेहरचंद मेंहदीरत्ता का देहांत 2 अगस्त 1989 को ह्रदय गति रुकने से हो गया था उस समय उनकी उम्र 58 वर्ष थी उन्होंने अपने जीवनकाल में 75 से ज्यादा जरूरतमंद कन्याओ का विवाह अपने हाथो से किया |