वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
सरबजोत के कोच अभिषेक राणा रहे है गुरुकुल के छात्र,आचार्य को दिया कामयाबी का श्रेय।
कुरुक्षेत्र, 13 अगस्त : पेरिस ओलम्पिक में सटीक निशाना लगाकर देश को पदक दिलाने वाले शूटिंग खिलाड़ी सरबजोत सिंह का आज गुरुकुल में भव्य अभिनन्दन किया गया। भारत का नाम विश्व पटल पर ऊंचा करने वाले निशानेबाज सरबजोत के आगमन पर गुरुकुल के छात्रों ने पुष्पवर्षा की, वहीं भारत माता की जय, वंदे मातरम् के गगनभेदी नारों से आकाश गंुजायमान हो उठा। गुरुकुल के संरक्षक एवं गुजरात के राज्यपाल आचार्य श्री देवव्रत जी ने पुष्प-गुच्छ देकर सरबजोत और कोच अभिषक राणा का स्वागत किया। ज्ञात रहे अभिषेक राणा गुरुकुल कुरुक्षेत्र के ही पूर्व छात्र हैं और गुरुकुल की शूटिंग रेंज में ही उन्होंने शूटिंग सीखी है। इस अवसर पर प्रधान राजकुमार गर्ग, निदेशक ब्रिगेडियर डॉ. प्रवीण कुमार, प्राचार्य सूबे प्रताप, व्यवस्थापक रामनिवास आर्य, शूटिंग कोच बलबीर सिंह, मुख्य संरक्षक संजीव आर्य आदि मौजूद रहे।
पत्रकारों से बात करते हुए आचार्यश्री ने कहा कि सरबजोत ने अपने हुनर और गुरुओं के सही मार्गदर्शन के दम पर देश-दुनिया में भारत का नाम रोशन किया है, गुरुकुल में आने से यहां के छात्रों को उनसे प्रेरणा मिलेगी। उन्होंने बताया कि गुरुकुल में संस्कारों व नैतिक मूल्यांे की शिक्षा के साथ बच्चों को उनकी रुचि अनुसार खेलों में भाग लेने के लिए प्रेरित किया जाता है जिसका परिणाम है कि आज गुरुकुल से निकले अभिषेक राणा का शिष्य सरबजोत देश के लिए मेडल लेकर आया है। आचार्यश्री ने कहा कि गुरुकुल में खेलों के लिए सभी अत्याधुनिक सुविधाएं व कोच उपलब्ध हैं और यहां के बच्चें पढ़ाई के साथ खेलों में भी उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हैं। एक प्रश्न के जवाब में उन्होंने युवाओं से प्राकृतिक खेती अपनाने का आह्वान करते हुए कहा कि भावी पीढ़ी को उन्होंने सरबजोत व अभिषेक राणा को ओलम्पिक में मेडल जीतने पर पुनः बधाई दी।
शूटिंग कोच अभिषेक राणा ने इस कामयाबी का श्रेय आचार्यश्री व गुरुकुल कुरुक्षेत्र को देते हुए कहा कि आचार्यश्री द्वारा कहे गये शब्द‘ बेटे तेरे अंदर गट्स है, तू कर सकता है’ आज भी मेरे कानों में गूंजते हैं और मुझे हमेशा प्रेरणा देते हैं। उन्होंने कहा कि गुरुकुल एक ऐसा संस्थान है जहां बच्चों को सर्वांगीण विकास आचार्यश्री के मार्गदर्शन में हो रहा है।
वहीं ओलम्पियन सरबजोत सिंह ने कहा कि वे पहली बार गुरुकुल आएं है, मगर यहां का माहौल और बच्चों के उत्तम स्वास्थ्य को देखकर ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि यहां पर राष्ट्र निर्माण का कार्य आचार्यश्री के मार्गदर्शन में बखूबी हो रहा है। उन्होंने कहा कि आगामी ओलम्पिक में वे देश को गोल्ड मेडल दिलाएंगे।