नवरात्र अवसर पर जयराम विद्यापीठ में निरंतर चल रहा है दुर्गा पाठ एवं महामृत्युंजय मंत्र जाप अनुष्ठान
दुर्गा पाठ के साथ महामृत्युंजय मंत्र जाप अनुष्ठान से होता है दुश्मनों का विनाश, मिलता है सुरक्षा कवच : आचार्य लेखवार।
हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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दुर्गा पाठ एवं महामृत्युंजय मंत्र अनुष्ठान कर रहे हैं ब्रह्मचारी और ब्राह्मण।
कुरुक्षेत्र, 16 अप्रैल :- देशभर के विभिन्न राज्यों में संचालित जयराम संस्थाओं के परमाध्यक्ष ब्रह्मस्वरुप ब्रह्मचारी के आशीर्वाद तथा प्रेरणा से जयराम विद्यापीठ में चैत्र नवरात्रों के अवसर पर विद्वान ब्राह्मणों एवं ब्रह्मचारियों द्वारा सर्वकल्याण की भावना से निरंतर दुर्गा पाठ एवं महामृत्युंजय मंत्र जाप यज्ञ अनुष्ठान किया जा रहा है। अनुष्ठान के चौथे दिन यजमान के तौर पर करनाल से आए राजेश गर्ग, रुचि गर्ग, प्रमोद शर्मा, अंगूरी देवी, नरेश कुमार, अशोक गर्ग, कुसुम गर्ग, राजीव शर्मा तथा उनके परिवार के सदस्यों ने पूजन करवाया। नौ दिवसीय नवरात्र अनुष्ठान करवा रहे आचार्य राजेश लेखवार शास्त्री ने बताया कि मां दुर्गा को शक्ति की देवी कहा जाता है। दुर्गा जी को प्रसन्न करने के लिए दुर्गा पाठ के साथ यज्ञ किया जाता है। उन्होंने बताया कि नवरात्रों में यज्ञ को बेहद शक्तिशाली बताया गया है। इस यज्ञ से बिगड़े हुए ग्रहों की स्थिति को सही किया जा सकता है और सौभाग्य इस विधि के बाद साथ देने लगता है। दुर्गा पाठ के साथ महामृत्युंजय मंत्र जाप अनुष्ठान से दुश्मनों का विनाश होता है तथा मां भगवती की कृपा से सुरक्षा कवच मिलता है। आचार्य लेखवार ने बताया कि इस अनुष्ठान को भगवान श्री गणेश जी, भगवान शिव शंकर, नवग्रह, और नवदुर्गा (देवी) को समर्पित करने से मनुष्य जीवन धन्य होता है। इसी अवसर पर चौथे दिन अनुष्ठान के उपरांत कन्या पूजन किया गया। विद्यापीठ में ब्रह्मचारी और ब्राह्मण नियमित दुर्गा पाठ कर रहे हैं। इस अवसर पर प्राचार्य रणबीर भारद्वाज, के के कौशिक, श्रवण गुप्ता, राजेश सिंगला, सतबीर कौशिक, जितेंद्र शर्मा, संत कुमार इत्यादि भी मौजूद थे।
जयराम विद्यापीठ में नवरात्रों के अवसर पूजन यजमान परिवार के सदस्य।