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मध्य प्रदेश// रीवा //सरपंच बर्खास्त फिर भी सचिव ने खाली किया पंचायत का खाता…
ब्यूरो चीफ// राहुल कुशवाहा रीवा मध्य प्रदेश..8889284934
मामला कैथा पंचायत के बर्खास्त सरपंच संत कुमार पटेल का // सरपंच की बर्खास्तगी के बाद सचिव शशिकांत मिश्रा ने खाली कर दिया पंचायत का खाता // एक्टिविस्ट ने जिला सीईओ स्वप्निल वानखेड़े और जिला कलेक्टर इलैयाराजा टी से जांच की माग की // भ्रष्टाचार चरम पर, कार्यवाहियों का कोई भय नहीं, थोक में चल रहा खेल।।*
दिनांक 27 जनवरी 2021, स्थान – रीवा मप्र
जिला रीवा में ग्राम पंचायतों में भ्रष्टाचार सर चढ़कर बोल रहा है। गंगेव जनपद की 38 ग्राम पंचायतों में कराधान घोटाले का मामला अभी शांत नहीं हुआ है वहीं दूसरी तरफ एलईडी लाइट घोटाले ने भी दस्तक दे दी थी। ग्राम पंचायतों में एलईडी लाइट के नाम पर करोड़ों का बंदरबांट कर दिया गया है। ऐसे ही हर ग्राम पंचायत में अलग-अलग स्तर का भ्रष्टाचार देखने को मिल रहा है।
सरपंच संत कुमार पटेल के पद से पृथक और वशूली के बाद भी पंचायत के खाते से निकाल लिए पैसे
गंगेव जनपद की कैथा ग्राम पंचायत में लगभग 18 लाख का भ्रष्टाचार सामने आया जिसके बाद सरपंच और सचिव को पद से पृथक कर दिया गया और बराबर बराबर वसूली की नोटिस जारी कर दी गई। इसके बावजूद भी नवागत कैथा सचिव शशिकांत मिश्रा के द्वारा सरपंच संतकुमार पटेल के पद से पृथक होने के बाद भी भ्रष्टाचार किया गया और सरपंच-सचिव के संयुक्त हस्ताक्षर से 12 से 19 जनवरी 2021 के बीच में लगभग 10 लाख रुपए निकाल दिए गए जबकि 12 जनवरी को न्यायालय कलेक्टर के समक्ष ही कैथा सरपंच संतकुमार पटेल को पद से पृथक करने और वसूली का आदेश जारी कर दिया गया था। यह बात सामाजिक कार्यकर्ता शिवानंद द्विवेदी को तब पता चली जब उन्होंने पंचायत दर्पण में पंच परमेश्वरऑनलाइन खाते का अवलोकन किया। पंचायत दर्पण से प्राप्त जानकारी में दिनांक 12 से 19 जनवरी के बीच लाखों रुपए निकाल दिए गए जबकि देखा जाए तो 12 जनवरी को ही सरपंच को पद से पृथक कर दिया गया था। यह प्रश्न उठना लाजमी है की पद से पृथक होने के बाद ग्राम पंचायत के खाते से किस प्रकार राशि आहरण की गई?? यह घोटाला पकड़ में आते ही एक्टिविस्ट ने मामले की जानकारी सीईओ जिला पंचायत स्वप्निल वानखेड़े, जिला कलेक्टर रीवा डॉक्टर इलैयाराजा टी, गंगेव जनपद सीईओ अजित तिवारी और पंचायत समन्वयक अधिकारी भारत पटेल को दे दी है और मामले की जांच की माग की है।
इस अनुपात में निकाली जाती है पंचायत के खाते से राशि
पंचायतों में वित्त आयोग की राशि को एक निश्चित अनुपात में निकाला जाता है जिसमें सबसे पहले 40 प्रतिशत राशि निकाली जाती है। उसके उपरांत कार्य का मूल्यांकन सहायक यंत्री और उपयंत्री के द्वारा किया जाता है जिसके बाद पुनः 40 प्रतिशत की राशि निकाली जाती है तत्पश्चात फिर मूल्यांकन किया जाता है और अंत में 20 प्रतिशत राशि निकाली जाती है। लेकिन यहां कैथा पंचायत के संदर्भ में स्पष्ट है कि बिना किसी मूल्यांकन के ही एक बार पुनः राशि का बंदरबांट कर लिया गया है जबकि कई कार्य मौके पर प्रारंभ भी नहीं हुए हैं और जो कार्य प्रारंभ किए गए हैं वह बहुत ही प्रारंभिक स्टेज पर हैं।
दुबारा मौका नहीं मिलेगा इसलिए साफ कर दिया पंचायत का खाताजाहिर है 12 जनवरी से लेकर 19 जनवरी के बीच में जिस प्रकार राशि निकाली गई उससे स्पष्ट है कि कहीं न कहीं सरपंच-सचिव दोनों को यह बात पता थी कैथा प्रशासकीय समिति प्रधान संत कुमार पटेल ग्राम पंचायत कैथा को पद से पृथक कर दिया गया है और क्योंकि अब बन्दरबाट का दुबारा मौका प्राप्त नहीं होगा इसलिए जितना जल्दी राशि निकाली जाए उतना ही बेहतर होगा और इसी दुर्भावना से प्रेरित होकर एक बार पुनः सरपंच विहीन कैथा पंचायत से राशि का बंदरबांट कर दिया गया जो कि विशेषज्ञों की माने तो व्यापक वित्तीय अनियमितता और 420 की श्रेणी में आती है।
*बर्खास्त सरपंच संत कुमार पटेल और सचिव शशिकांत मिश्रा पर एफआईआर दर्ज करने की माग
मामले पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए एक्टिविस्ट शिवानंद द्विवेदी ने बताया है कि उन्होंने मामले की शिकायत कर तत्काल कार्यवाही की माग की है, और दोषियों वर्तमान सचिव शशीकांत मिश्रा एवं बर्खास्त सरपंच संत कुमार पटेल के ऊपर एफ आई आर दर्ज कर तत्काल राशि की वसूली हेतु सीईओ जिला पंचायत रीवा स्वप्निल वानखेड़े एवं कलेक्टर रीवा डॉक्टर इलैयाराजा टी से माग की है।
संलग्न – मामले के विषय में एक्टिविस्ट शिवानंद द्विवेदी के द्वारा की गई शिकायत की पीडीएफ फाइल संलग्न है एवं साथ में बर्खास्त कैथा सरपंच संत कुमार पटेल की फोटो भी संलग्न है।
*शिवानंद द्विवेदी सामाजिक एवं मानवाधिकार कार्यकर्ता जिला रीवा मध्य प्रदेश मोबाइल नंबर 9589152587