नजरअंदाज करने से हुआ फाइलेरिया ग्रसित, आपलोग पहले से रहें सतर्क : आनंद यादव
- 10 साल से हाथी पाँव की समस्या से ग्रसित हैं आनंद
- दूसरे पांव को फाइलेरिया से बचाने के लिए उन्होंने खाया अल्बेंडाजोल
- लोगों से की एमडीए कार्यक्रम में शामिल होने की अपील
कटिहार संवाददाता
जिले में 20 सितंबर से लोगों को फाइलेरिया से सुरक्षित रखने के लिए सरकार द्वारा सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम (एमडीए) चलाया जा रहा है। कार्यक्रम के तहत जिले में 02 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों को डीईसी व अल्बेंडाजोल की दवा स्थानीय आशा व आंगनबाड़ी सेविकाओं द्वारा खिलाई जा रही है। फाइलेरिया एक क्यूलेक्स मच्छर के काटने से होने वाला रोग है जिसे आमतौर पर हाथी पांव भी कहा जाता है। इससे लोगों के हाथ, पैर या हाइड्रोसिल(अण्डकोष) में सूजन हो जाती है। प्रारंभिक अवस्था में ही अगर इसकी पहचान कर इसे रोक दिया जाए तभी इससे सुरक्षित रहा जा सकता है। इसके लिए सरकार द्वारा प्रतिवर्ष एमडीए कार्यक्रम चलाया जाता है जिससे कि लोगों को फाइलेरिया ग्रसित होने से सुरक्षित रखा जा सके।
नजरअंदाज करना होगा मुश्किल को निमंत्रण :
जिले के मनसाही प्रखंड के मरंगी पंचायत स्थित घांसी टोला के निवासी 50 वर्षीय आनंद यादव पिछले 10 वर्षों से हाथी पांव की समस्या से ग्रसित हैं। फाइलेरिया के विषय में उन्होंने बताया कि करीब 10 वर्ष पूर्व मुझे बायें पैर के नस में हल्का दर्द महसूस हुआ। मैंने इलाज के लिए स्थानीय डॉक्टर से संपर्क किया जिसने मुझे बताया कि यह फाइलेरिया के लक्षण हैं इसे तुरंत इलाज की आवश्यकता है। डॉक्टर ने मुझे कुछ दिन की दवाइयां दी लेकिन मैंने उसका सही तरह से उपयोग नहीं किया। कुछ समय बाद मेरे पैर का दर्द बढ़ता ही गया लेकिन फिर भी मैं सक्रिय रूप से इलाज नहीं कराया। कुछ समय बाद मेरा पैर हाथी की तरह फुल गया। उसके बाद डॉक्टरों ने भी कहा कि इसे खत्म नहीं किया जा सकता है।
अब होती है बहुत तरह की समस्या :
आनंद यादव ने बताया कि फाइलेरिया ग्रसित होने पर अब उसे बहुत तरह की समस्या झेलनी पड़ती है। पैर फुला हुआ होने के कारण मैं अब बिल्कुल भी दौड़ नहीं सकता। चलने में भी समस्या होती है। ज्यादा समय तक एक जगह बैठ नहीं सकते। कभी कभी बुखार आ जाता है। चावल खाने से पैर और फूल जाता है। कभी कभी पैर का फूला हुआ हिस्सा बहुत लाल एवं गर्म हो जाता है जो तकलीफदेह होता है।
लोगों का एमडीए अभियान में भाग लेना आवश्यक :
आनंद यादव ने बताया कि मेरा 10 वर्ष से एक पैर फाइलेरिया ग्रसित होने के बाद अभी दूसरे पैर में भी फाइलेरिया के लक्षण दिखाई देने लगे हैं। इससे बचने के लिए मैंने चिकित्सक की सलाह ली और सरकार द्वारा चलाई जा रही सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम के तहत डीईसी व अल्बेंडाजोल की दवा खाई। इससे दूसरे पैर में अब कोई समस्या नहीं है। लोगों को भी फाइलेरिया संक्रमण से सुरक्षित रहने के लिए एमडीए कार्यक्रम में भाग लेते हुए डीईसी व अल्बेंडाजोल की दवा का सेवन करना चाहिए। तभी वह फाइलेरिया से सुरक्षित रहेंगे।
दवा सेवन के साथ लोगों को दी जा रही फाइलेरिया की जानकारी :
पीसीआई के जिला समन्यवक प्रवीण ठाकुर ने बताया कि लोगों को सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम के तहत डीईसी व अल्बेंडाजोल की दवा खिलाने के साथ ही उन्हें फाइलेरिया से बचाव की भी जानकारी दी जा रही है। इससे लोग पहले से ही सतर्क रह सकेंगे और सरकार द्वारा चलाया जा रहा एमडीए कार्यक्रम में बढ़चढ़ कर भाग लेंगे।