हिसार नगर से श्रद्धालुओं का जत्था नेकी के दर नकोदर पहुंचा।
हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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फकीरों के दर पर सभी धर्मों के लोग पहुंच कर पाते हैं रहमत।
हिसार :- प्रातः काल की अमृत बेला में श्रद्धालुओं का एक जत्था समस्त साईं परिवार हिसार की देखरेख में नेकी का दर नकोदर में स्थित डेरा बाबा मुरादशाह साईं लाडी शाह नकोदर पंजाब पहुंचा।
हिसार से पहुंचे सभी श्रद्धालुओं ने डेरा बाबा मुरादशाह साईं लाडी शाह नकोदर में पूरी श्रद्धा के साथ दर्शन किए व अपनी मनोकामना व मंगल कामना के लिए अर्चना की।
डेरा में उपस्थित सेवादारों ने उपस्थित श्रद्धालुओं को अपने सन्देश में इन्सानियत का पाठ पढ़ाते हुए कहा कि संतों-फकीरों के दर ऐसे होते हैं जहां, प्रभु, अल्लाह, खुदा दाता की मेहर बरसती है। जो भी नेकी का दर नकोदर पूरी श्रद्धा के साथ पहुंचते हैं उनकी मुराद अवश्य पूरी होती है। उन्होंने कई तर्को से डेरा की महिमा का गुणगान किया।और कहा कि डेरा में हर धर्म को मानने वाले श्रद्धालु पूरी श्रद्धा से आते हैं ,अपनी मनोकामना पूर्ण करते हैं। क्योंकि फकीरों का दर ही ऐसा दर होता है जहां सभी धर्मों को मानने वाले लोग पहुंच कर खुदा की रहमत प्राप्त करते हैं। इसलिए हमें इन्सानियत को नहीं भूलना चाहिए और आपस में प्रेम-प्यार से रहना चाहिए।
इन्सान सिर्फ बहाना है खुदा देता है’, ‘मेरा लिख ले गुलामां विच नाम बाबा’, ‘न कर अडिया कर साकी मैं तां पीनी है बाबा तेरे नाम दी मस्ती’, ‘ताज दारां दे नाम अमीरां दे दिए बलदे फकीरां दे’, ‘हम को गुलिस्तां के हर गुल से मोहब्बत है, गुलची को जो नफरत हो तो गुलशन से निकल जाए’, ‘अखियां उड़ीक दियां दिल्लों वाजा मारदा, आजा जान वालेया तैने वास्ता है प्यार दा’, ‘आजा ओ मेरे साईं मुरशद मेरे आ जाओ, उजड़ी हुई आसा दी आज लोक वसा जाओ’, ‘मैं नीवां मेरा मुरशीद उचां, उचयां दे संग लाई मैं सजके जावां इनां दे’, ‘करमात फकीर कमाल दी साईं मुरादां दे दरबार दी’ आदि सुन्दर कव्वालियों पर उपस्थित श्रद्धालुगण झूमते रहे।
सभी ने श्रद्धा पूर्व प्रसाद ग्रहण किया।