रिपोर्ट पदमाकर पाठक
पोषण चुनो, तेज बनो – डीपीओ
बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग द्वारा कुपोषण की रोकथाम के लिए तीन माह चलेगा “संभव” अभियान
आजमगढ़।बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग, कुपोषण की रोकथाम के लिए एक विशेष संभव अभियान चला रहा है। जो 16 जून से लेकर 16 सितंबर तक 5588 आंगनबाड़ी केन्द्रों पर चलाया जायेगा। संभव अभियान कुपोषण को खत्म करने के लिए एक कारगर कदम है।यह कहना है जिला कार्यक्रम अधिकारी मनोज कुमार मौर्य ने बताया कि सम्भव अभियान, पोषण एवं संवर्धन की ओर विषय पर सैम, मैम गम्भीर, अल्प वजन के बच्चों के चिन्हांकन आदि विषयों पर कार्यशाला का आयोजन हुआ। लम्बाई के सापेक्ष वजन और उम्र के सापेक्ष वजन के आधार पर कमशः चिन्हांकन सैम, मैम और गम्भीर रूप से कम वजन के बच्चों के पहचान की प्रक्रिया बताते हुए शत-प्रतिशत बच्चों का वजन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है। जिले में शून्य से पाँच वर्ष तक के बच्चों की कुल संख्या 521964 है, जिसमें वजन और ऊंचाई ली गयी 482009 बच्चों की, जिसमें आंशिक कुपोषित 42579 व अति कुपोषित 11799 बच्चे हैं, जिसमें सैम 4103 व मैम 13758 बच्चे चिन्हित किए गए हैं। जिन्हें कुल 5588 आंगनवाड़ी कार्यकर्ता द्वारा निगरानी की जा रही है। साथ ही जिले की कुल 52897 गर्भवती व 52650 धात्री माताएं को चिन्हित कर सभी केन्द्रों पर संभव अभियान की शुरूआत हो चुकी है। जुलाई माह के दौरान सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता अपने -अपने क्षेत्रों में प्रथम त्रैमास गर्भवती महिलाओं का शीध्र पंजीकरण, गर्भवती के वजन की जांच, आयरन व कैल्शियम का सेवन एवं पौष्टिक आहार के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी जा रही है।गौरतलब है कि बीते माह भी साप्ताहिक वजन थीम अभियान चलाया गया।इसी क्रम में जुलाई में मातृ पोषण थीम, अगस्त में बाल पोषण थीम और सितम्बर में जीवन के प्रथम 1000 दिन को थीम बनाकर अभियान चलेगा। अभियान में अच्छे कार्य करने वाले बाल विकास परियोजना अधिकारी, मुख्य सेविका व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को पुरस्कृत भी किया जायेगा।
बाल पोषण थीम अभियान के दौरान बच्चों का वजन, 6 माह के बच्चों को ऊपरी आहार की मात्रा के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी जाएगी। इसी तरह सितम्बर में प्रथम 270 दिन और जन्म के दो साल, 730 दिन कुल 1000 दिन के बच्चों का शारीरिक व मानसिक विकास के लिए अति महत्वपूर्ण है। इस थीम के तहत बच्चों का टीकाकरण, बीमार बच्चों की देखभाल, साफ-सफाई, पोषण वाटिका, किशोरी को एनीमिया जैसी बीमारी से बचाव लिए जनसमुदाय को जागरूक व प्रोत्साहित करने का कार्य किया जायेगा। इसके अलावा अभियान के अन्त में वजन सप्ताह का आयोजन भी किया जायेगा।