धरती पुत्र मुलायम सिंह यादव के आस्ट्रेलिया पढें कढे बेटवा अखिलेश यादव राकेश टिकैत के नेतृत्व हो रहे किसान आन्दोलन के बारे एक अपने गलकंठ एक शब्द भी नहीं निकाल रहे हैं। आदरणीय अखिलेश यादव जी आपके शासनकाल में दुखद दुर्भाग्यपूर्ण मर्मान्तक पीड़ा पहुंचाने वाला और मानवता को शर्मसार करने वाला मुजफ्फरनगर में दंगा हुआ उस समय आप पूरे परिवार सहित सैफई महोत्सव मनाने में मस्त थे। मल्लिका सहरावत के ठूमको में झूम रहे थे। इस प्रदेश की जनता कभी आपको नहीं माफ करेगी क्योकि जिस समय मुजफ्फरनगर दंगे के दावानल में जल रहा था उस समय आप मस्ती से माधुरी दीक्षित और मल्लिका सहरावत के ठूमको पर मन मुग्ध हो रहे थे। आप उसी कहावत को चरितार्थ कर रहे थे कि- फ्रांस की जनता भूख से बिलबिलाते हुए रोटी मांग रही थी और वहां का शासक बांसुरी बजा रहा था। मै हृदय से बधाई देता हूँ राकेश टिकैत और सम्पूर्ण किसान आन्दोलन को जिसने मुजफ्फरनगर के माथे पर लगे दंगों के दाग पूरी तरह धो दिऐ और आज वहां जाति धर्म की सारी संकीर्णताओ को मिटाकर लोग बुनियादी मुद्दों के लिए संघर्ष कर रहे हैं। नौ दस महीने से चल रहा किसान इस अर्थ में मील का पत्थर साबित होगा कि- पश्चिमी उत्तर प्रदेश में इसने भाजपा और समाजवादी पार्टी की मिली जुली साजिश के तहत होने वाले साम्प्रदायिक ध्रुवीकरण की प्रक्रिया को रोक दिया। धन्यवाद किसान आन्दोलन और राजेश टिकैत सहित समस्त आन्दोलनकारी आपके संघर्षों का परिणाम है कि आज पश्चिम उत्तर प्रदेश किसी तरह की साम्प्रदायिक प्रयोगशाला नहीं बन पा रहा हैं।
सनम हम तुम्हारी मुहब्बत में दर बदर हो गये
सारी दुनिया से बेखबर हो हो गये ,
तुम सज सँवर कर सैफई हो गये
हम उजडकर मुजफ्फरनगर हो गये।
मनोज कुमार सिंह प्रवक्ता
बापू स्मारक इंटर कॉलेज दरगाह मऊ।