सनातन धर्म की प्राचीन पद्वति ही आरोग्यता में कारगर : प्रेम।
हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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कोरोना के हर चरण में ये पौधे काम में आंएगें-सनातनी परम्परा साथ में अपनांए।
दिल्ली :- अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर कोरोना आपदा ने संसार को सोचने पर मजबूर किया है रोग प्रतिरोधक क्षमता यानि इम्यूनिटी क्यों जरूरी है क्ंयूकि जीवन तभी सम्भव है जब आप रोगों से लडऩे में सक्षम रहेंगे। अत: राष्ट्रीय अध्यक्ष उन्नत भारत सगंठन ट्रस्ट ने संस्था के सभी पदाधिकारियों से अनुरोध किया कि ये सात पौधे जीवन रक्षण में अहम भूमिका निभाते है हमारे सतों महन्तों,ऋषि मुनियों ने प्रकृति की इस नायाब नियामत को सदियों पहले रोगों से लडने हेतु खान पान में सम्मिलित करा कर सनातनी परम्परा को विश्व में श्रेष्ठ बनाया है ये पौधो हैं धनिया पोदीना, तुलसी, एलोवीरा, सदाबहार, घिया, तौरी, गिलोय हर घर में उगांए और रोगो से बचाव में इनकी भूमिका को ध्यान में रखें। प्रस्ताव को राष्ट्रीय स्तर पर घर घर इन पौधों की पौध डॅा.विजय कुमार अरोड़ा कृषि बागवानी विशेषज्ञ की समिती ने समस्त एशिया में प्रचार प्रसार की एक कमेटी का गठन किया है राष्ट्रीय कार्यकारिणी के पदाधिकारी, हरेन्द्र गुलाटी हरियाणा, सुषमा नाथ (ठ्ठष्ह्म्) शिव रत्न अग्रवाल उत्तरांखण्ड, आर एल्विन देवदास दक्षिण भारत, डा.अमिता कुलश्रेठ एंव डा.स्वामी देवेन्द्र चैतन्य उत्तर प्रदेश,डा.एन.आर लश्कर नोर्थ ईस्ट , मन्नजू मित्तल, रितू कापिला पंजाब, इजि.वाई.के शर्मा, कल्याणी संचान, सरपंच शेर सिंह चौहान मध्यमाप्त व अर्जुन वेद राजस्थान के प्रभारी नियुक्त किए गए हैं। सनातनी सन्तो मुनियों ऋषियों द्वारा ये सजीवनी बूटी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने व शरीर में रोग न आए पर पूरा काम करते है फिर भी यदि आवश्यक हो तो आप सरकार द्वारा चलाए जा रहे स्वास्थ्य केन्द्रों अस्पतालों में इलाज करा सकते है सरकार के नियमों का पालन करें देश को कोरोना आपदा से भी बचाने हेतु काम करें, भारत की जनता से धैर्य की अपील भी की गई है टीकाकरण कराएं परन्तु नियमों का पालन करके,सरकार से अनुरोध है कि टीकाकरण प्रकिया सुलभ, राज्यों की एप से तथा जिसका नम्बर हो उन्हें ही वहां रूकने दे इससे कोरोना महामारी से बच सकेगें। संपर्क दूरभाष- 76781-92299