फलका प्रखंड में गणेश महोत्सव को लेकर 5100 कन्याओं ने शोभायात्रा में भाग लेकर सफल बनाएं।
कटिहार फलका संवाददाता अमर कुमार गुप्ता की रिपोर्ट
फलका प्रखंड फलका बाजार दिन शुक्रवार को नव युवा संघ हल्का के द्वारा हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी गणेश पूजा के मौके पर भव्य कलश शोभायात्रा का आयोजन किया गया कलश शोभायात्रा में करीब 51 सौ कुमारी कन्या एवं महिलाएं ने हिस्सा लिया कलश शोभायात्रा का शुभारंभ सुंदर आवरण डी नदी कलश में जल भरकर विधि विधान के साथ पूजा अर्चना के बाद किया गया कलश शोभायात्रा फलका बाजार के ठाकुर मंदिर से शुरू होकर फिर फलका बाजार गली-गली घूमकर ठाकुरबाड़ी आकर संपन्न हुआ इस दौरान कलश शोभायात्रा फलका बस्ती होते हुए फलका बाजार ठाकुरबाड़ी मंदिर वापस लौट गए करीब 9 से 12 किलोमीटर तक कलश शोभायात्रा भ्रमण किया गया वहीं गाने से पूरे हल्का गूंज उठा गणपति बप्पा मोरया आयो रे आयो गणपति बप्पा आयो सभी भक्त जनों के लवजो पर यही गुण दिखाई दिए भगवान की मर्जी के सामने दूरी कितना भी क्यों ना हो वह भी कम ही नजर आती है ऐसे छोटे-छोटे बच्ची शोभायात्रा में देखने को मिला जो 9 से 12 किलोमीटर पैदल चलकर कलश शोभा यात्रा को सफल बनाएं इस मौके पर फल का प्रशासनिक व्यवस्था को शोभा यात्रा को चुस्त-दुरुस्त रखने में फलका थाना अध्यक्ष उमेश पासवान सदल बल के साथ लगे हुए थे वही मौके पर फलका प्रखंड के गन्ने मान बुद्धिजीवी नव युवा संघ भी मौजूद रहे ।गणेश चतुर्थी अब बहुत ही समीप है और इसलिए इस त्योहार में मजा और उल्लास है जो इस 10 दिवसीय लंबे उत्सव के साथ आता है. जैसा कि नाम से पता चलता है, इस शुभ अवसर पर लोग विघ्नहर्ता, भगवान गणेश की पूजा करते हैं. कैलाश पर्वत से उनकी माता पार्वती के साथ उनके आगमन को गणेश चतुर्थी के रूप में मनाया जाता है.
स्कंद पुराण, नारद पुराण और ब्रह्म वैवर्त पुराण में भी भगवान गणेश की महिमा की गई है. उन्हें ज्ञान और बाधा निवारण के देवता के रूप में पूजा जाता है, इसलिए उन्हें विघ्नहर्ता के रूप में जाना जाता है, जहां ‘विघ्न’ का अर्थ है बाधाएं और ‘हर्ता’ का अर्थ है जो उन्हें दूर करता है. कोई नया काम या शादी जैसे कुछ नया शुरू करने से पहले भगवान गणेश की पूजा की जाती है.
इस दिन को विनायक चतुर्थी या विनायक चविटी के रूप में भी जाना जाता है, ये त्योहार हिंदू चंद्र कैलेंडर के भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी को मनाया जाता है. इस वर्ष गणेश महोत्सव 10 सितंबर 2021 से 19 सितंबर 2021 तक मनाया जाएगा.
गणेश चतुर्थी 2021 : तिथि और समय
गणेश चतुर्थी – 10 सितंबर, 2021
मध्याह्न गणेश पूजा मुहूर्त – सुबह 11:03 से दोपहर 01:32 बजे तक
चतुर्थी तिथि शुरू – 10 सितंबर को दोपहर 12:18 बजे
चतुर्थी तिथि समाप्त – 10 सितंबर को रात 09:57 बजे
गणेश महोत्सव शुरू – 10 सितंबर, 2021
गणेश महोत्सव समाप्त – 19 सितंबर, 2021
गणेश विसर्जन रविवार, सितंबर 19, 2021
गणेश चतुर्थी : महत्व
मान्यताओं के अनुसार, भगवान गणेश को ज्ञान और सौभाग्य का देवता माना जाता है और किसी भी शुभ घटना से पहले, उनका आशीर्वाद लेने के लिए उनकी पूजा की जाती है. भगवान गणेश का आशीर्वाद पाने के लिए, ये अनुशंसा की जाती है कि उनके भक्तों को “गणपति बप्पा मोरया” का जाप करना चाहिए. इसके अलावा, लोग भगवान गणेश के सम्मान में उपवास भी रखते हैं और अपने जीवन से अंधकार को दूर करने और उनका आशीर्वाद लेने के लिए अपने घरों में एक दीया जलाते हैं.।