दीपक शर्मा (जिला संवाददाता)
बरेली : संघर्षों के साये में जब इतिहास हमारा पलता है, जिस ओर जवानी चलती हैं उस ओर जमाना चलता है। युवाओं को अब रोजगार के लिए किसी के पास जाने की ज़रूरत नहीं हैं, रोजगार पैदा करने के लिए अब छात्र तैयार रहे, क्योंकि अब आप खुद रोजगार देने वाले बनने जा रहे हैं। इनवर्टिस विश्वविद्यालय इसकी शुरुआत अब इनोवेशन इन्क्यूबेशन सेंटर के ज़रिए करने जा रहा हैं, क्योंकि नवाचार को बढ़ावा देने के लिए इनवर्टिस विश्वविद्यालय नया इतिहास लिखने जा रही हैं। इनवर्टिस इनोवेशन इन्क्यूबेशन सेंटर के उद्घाटन पर बोलते हुए विश्वविद्यालय के कुलाधिपति एवं बरेली मेयर डॉ. उमेश गौतम ने ये बातें कहीं शहर के प्रमुख उद्योपतियों के साथ साथ शिक्षा जगत और समाज की महत्त्वपूर्ण हस्तियों के साथ साझा कीं। इनोवेशन इन्क्यूबेशन सेंटर नवाचार और विचारों को एक नई पहचान देने का काम करेगा। जिससे युवाओं का कौशल विकास होगा ताकि उनकी प्रतिभा को निखारा जा सके। विश्वविद्यालय के कार्यकारी निदेशक पार्थ गौतम ने स्टार्टअप की शुरुआत करने के लिए छात्रों को शुभकामनाएं देते हुए हैं कहा कि आप आगे आईए इनवर्टिस यूनिवर्सिटी अब आपके नवाचार को एक आकर देने के लिए तैयार है।
इनवर्टिस इनोवेशन इन्क्यूबेशन सेंटर के उद्घाटन पर आये नए उद्मिमी डीसीएस चेयरमैन, राहुल नायडू ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि युवा इंडस्ट्री में अलग-अलग आइडिया को लेकर आयें, जहां आप अपने इनोवेशन के साथ एक नए तरीके से शुरुआत कर सकते हैं। ताकि आप कुछ नया सीख सके। एआईसी सीईओ, आईआईटी दिल्ली से आलोक पांडे ने इनक्यूबेटर के पेरामीटर पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इनक्यूबेशन की शुरुआत कैसे की जाती है और यह किस तरह काम करता है, साथ ही उन्होंने इसकी चुनौती और समस्याओं पर अपनी बातें रखते हुए कहा कि इनक्यूबेशन छात्रों के कौशल विकास को बढ़ावा देना का काम करेगा, जो सकारात्मक परिवर्तन और आर्थिक विकास को चलाने में मदद कर सकता हैं। इंडियन इंडस्ट्री एसोसिएशन के उपाध्यक्ष डॉ दिनेश गोयल ने बताया कि नवाचार की शुरुआत करने के लिए जोखिम भी उठाना पड़ता है। कोई भी नवाचार जोखिम उठाए बिना शुरू नही किया जा सकता। लेकिन इनवर्टिस विश्वविद्यालय में ऐसे नवाचारों को विकसित करने के लिए संस्थान को एक नई पहचान देने का काम कर रही हैं।
इस मौके पर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. वाईडीएस आर्या, कुलसचिव संतोष कुमार, इंडस्ट्री पार्टनरशिप निदेशक ताल्हा खान, सीएसईडी निदेशक जेएनएस श्रीवास्तव एवं विभिन्न विभागों के संकायाध्यक्ष प्रो. आरके शुक्ला (इंजीनिरिंग एवं टेक्नोलॉजी), प्रो. मनीष गुप्ता (प्रबंधन), प्रो. पीपी सिंह (एप्लाइड साइंस एंड ह्यूमैनिटीज), डॉ. एसएस त्रिपाठी (कृषि), डॉ. राजेश शर्मा (पत्रकारिता एवं जनसंचार) साथ ही अन्य विभागों के विभागाध्यक्ष और छात्र-छात्राओं की गरिमापूर्ण उपस्थिति रहीं।