हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
दूरभाष – 94161 91877
कुरुक्षेत्र : 10 वें अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के उपलक्ष्य में श्री कृष्ण आयुष विश्वविद्यालय के योग विभाग द्वारा दो दिवसीय जलनेती एवं योग प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया गया। जिसमें आयुर्वेद अध्ययन एवं अनुसंधान संस्थान के स्नातक एवं स्नातकोत्तर विभाग के सभी विद्यार्थियों ने बढ़-चढ़ कर भाग लिया। इस अवसर पर कुलपति प्रो. वैद्य करतार सिंह धीमान ने कहा कि योग शरीर के साथ-साथ मन को भी स्वस्थ रखता है योग ही वह क्रिया है जिससे आनंद की अनुभूति होती है इसलिए हर व्यक्ति को अपनी दिनचर्या में योग को शामिल करना चाहिए। उन्होंने कहा कि योग के दो अर्थ है एक जोड़ना और दूसरा है समाधि। जब तक साधक अपने शरीर को योग से नहीं जोड़ता ध्यान तक जाना असंभव है। वर्तमान युग प्रतिस्पर्धा का है मनुष्य दिन-रात भाग-दौड़ रहा है काम का प्रेशर, रिश्तों में अविश्वास और दूरी के कारण तनाव तेजी से बढ़ रहा है इसलिए योग सभी के लिए जरूरी है। योग दर्शन धर्म से परे है और गणित से कुछ ज्यादा है। यह बहुमूल्य देन भारत की है इसलिए पूरा विश्व भारत को विश्वगुरु मान रहा है। इस दो दिवसीय कार्यशाला में योग शिक्षक योगेंद्र कुमार द्वारा विद्यार्थियों को जनेती और योग अभ्यास करवाया गया। इसके साथ ही प्रतिदिन योग को जीवन में करने से होने वाले लाभों को भी विद्यार्थियों को बताया। इस अवसर पर योग विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ. शीतल महाडिक, योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा केंद्र के परामर्श दाता डॉ. चक्रपाणि आर्य, पीआरओ मनोज एवं पीजी स्कॉलर मौजूद रहे।