मनोज कुमार बॉक्सिंग एकडेमी आने वाले समय में देश को ओलंपियन मनोज कुमार जैसे बहुत से मुक्केबाज़ देगी : प्रो० सोमनाथ सचदेवा

मनोज कुमार बॉक्सिंग एकडेमी आने वाले समय में देश को ओलंपियन मनोज कुमार जैसे बहुत से मुक्केबाज़ देगी : प्रो० सोमनाथ सचदेवा।

हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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कुरुक्षेत्र 7 मार्च :- मनोज कुमार बॉक्सिंग एकेडमी में मुक्केबाज़ो को सबोंधित करते हुए कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफ़ेसर सोमनाथ सचदेवा ने कहा कि एक ऐसा खिलाड़ी जिसने पदकों से विश्व में तिंरगा फहराकर देश को गौरवान्वित किया हो उनके नाम पर स्थापित की गई बॉक्सिंग एकेडमी अदभुत और काबिले तारीफ है क्योंकि यह एकेडमी अंतरराष्ट्रीय स्तर के सभी मापदंडों को पूरा करती है।
कुलपति ने कहा कि खेलों का भी हमारे जीवन में बहुत महत्त्व है, खेल भी उतने ही आवश्यक है जितनी की पढ़ाई, पढ़ाई के लिए स्वस्थ मस्तिष्क चाहिए और स्वस्थ मस्तिष्क स्वस्थ शरीर में ही निवास करता है शरीर को स्वस्थ रखने के लिए खेल अनिवार्य हैं । खेल समय की बर्बादी नहीं है खेल एक अच्छा व्यायाम है और जीवन में नई ऊँचाइयों पर पहुँचने का रास्ता है। खेल खेलने से आलस्य दूर भागता है, चित्त प्रसन्न होता है । चित्त की इस अवस्था में पढ़ाई जैसा कोई भी कार्य भली भाँति किया जा सकता है ।
कुलपति ने कहा कि खेल एक अच्छा मनोरंजन भी है । खेल खेलने वाले को भी मनोरंजन मिलता है और खेल देखने वाले को भी। खेल का सबसे बड़ा उद्देश्य मतभेद तथा दूरियों को मिटाना है । यह खेल ही है जो सम्पूर्ण मानव जाति को एक सूत्र में पिरोने की क्षमता रखता है फिर चाहे वह बॉक्सिंग हो या कुश्ती । इनसे परस्पर सहयोग की भावना जागृत होती है । सहयोग एकता का ही दूसरा नाम है ।
कुलपति प्रो. सोमनाथ ने कहा कि एकता से समाज अथवा राष्ट्र मजबूत तथा शक्तिशाली बनता है खेलो से अनुशासन आता है अनुशासन का जीवन में बहुत महत्त्व है। खेलों से अनुशासन में रहने का प्रशिक्षण मिलता है । कोई भी खेल अनुशासन अथवा नियमों का पाबन्द रहकर ही खेला जाता है । अनुशासन का पाबन्द रहकर मनुष्य जीवन में उन्नति के पथ पर अग्रसर होता है। मनुष्य को गतिशील होना चाहिए । उसे सदैव आगे ही बढ़ना चाहिए । खेलकूद से स्वस्थ प्रतिस्पर्द्धा की भावना जागृत होती है । प्रतिस्पर्धा की भावना के साथ-साथ खेल की भावना को बनाये रखना बहुत जरूरी है । खेलकूद से मनुष्य में संघर्ष करने की आदत पड़ती है । जीवन में उन्नति करने के लिए ही नहीं अपितु अस्तित्व को बनाए रखने के लिए संघर्ष करना पड़ता है । जहाँ जीवन है वहाँ संघर्ष है और जो संघर्ष नहीं कर सकता वह जीवन में सफल नहीं हो सकता ।
एकेडमी के संस्थापक राजेश कुमार राजौंद को एकेडमी के सभी प्रबंधको ने शानदार बॉक्सिंग एकेडमी बनाने के लिये बहुत-बहुत बधाई दी। मनोज कुमार बॉक्सिंग एकेडमी के संस्थापक राजेश कुमार राजौंद ने मुख्य अतिथि कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा का धन्यवाद व आभार प्रकट करते हुए कहा कि मनोज कुमार बॉक्सिंग एकेडमी के छोटे छोटे नन्हे बच्चों को जो प्यार स्नेह प्रेरणा और आशीर्वाद मिला, उसके लिये हम सब आपके आभारी है । उन्होंने डॉ. डी. एस राणा चीफ़ वॉर्डन व पूर्व खेल निदेशक का भी आने के लिए धन्यवाद प्रकट किया।

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