हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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कुरुक्षेत्र,14 फरवरी: सन्निहित सरोवर स्थित प्राचीन श्री दुखभंजन महादेव मंदिर में माघ मास के उपलक्ष्य में करवायी जा रही श्रीमद्भागवत कथा में कथाव्यास शुकदेव आचार्य ने श्रीकृष्ण -रुकमणी विवाह प्रसंग विस्तार से सुनाया। मुख्य यजमानों जय कुमार शर्मा,अरुण शर्मा व वरुण शर्मा परिवार ने सर्वदेव एवं भागवत पूजन करके दीप प्रज्ज्वलित किया।
प्रसंग में कथाव्यास शुकदेवाचार्य ने कहा कि जो लोग भगवान की निर्भरता का नाम लेकर हाथ पर हाथ धरे बैठे रहना, सोना अथवा आराम में लगे रहना चाहते हैं, वे अपने आप को धोखा देते हैं।भगवान की निर्भरता में भक्त का जीवन सर्वदा और सर्वथा भगवत सेवा परायण बन जाता हैं। इस मौके पर श्री कृष्ण रुकमणी की आकर्षक झांकी दिखाई गई।गायक मुरारी भार्गव द्वारा सुनाए गए भजन आओ मेरी सखियों मुझे मेंहदी लगा दो, मुझे श्याम सुंदर की दुल्हन बना दो और दूल्हा बने हैं नंदलाल की जोड़ी का जवाब नहीं…पर श्रद्धालु झूम उठे। भागवत आरती में भागवत आरती में आचार्य विनोद मिश्र, पण्डित पवन भारद्वाज, ज्ञानचंद शर्मा, जगन्नाथ शर्मा, वीरभान शर्मा,प्रेम मदान,अजय ठाकुर, विजय ठाकुर, अनुराधा पाठक, सुषमा शर्मा व कुसुम गान्धी सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने भाग लिया।
भागवत पूजन में हिस्सा लेते यजमान।