वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय में मनाया गया अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस एवं संगीत दिवस।
पलवल : श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय में शुक्रवार को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस बड़े स्तर पर मनाया गया। कुलपति डॉ. राज नेहरू के नेतृत्व में अधिकारियों, शिक्षकों, कर्मियों और विद्यार्थियों ने योग किया। योगाचार्य डॉ. सोहन लाल ने योगासनों का महत्व एवं प्राणायाम के लाभ बताए। सभी ने महर्षि पतंजलि का अनुसरण करते हुए योग को जीवन में धारण करने का संकल्प लिया। साथ ही संगीत दिवस भी मनाया गया। संगीत शिक्षक डॉ. राजकुमार तेवतिया ने संगीतमयी प्रस्तुति से समां बांध दिया।
इस मौके पर कुलपति डॉ. राज नेहरू ने कहा कि ईश्वर से जुड़ने की प्रक्रिया ही योग है। योग के माध्यम से हम एक अच्छा और स्वस्थ समाज सृजित कर सकते हैं और एक अच्छा ग्रह बना सकते हैं। कुलपति डॉ. राज नेहरू ने कहा कि हमारे यहां भारत में दो प्रश्न बड़े महत्त्वपूर्ण हैं। एक प्रश्न है कि मैं कौन हूं और दूसरा प्रश्न है कि मेरे जीवन का उद्देश्य क्या है। योग समाधि के जरिए हम इन प्रश्नों का उत्तर जान सकते हैं। कुलपति डॉ. राज नेहरू ने डिप्लोमा इन योगा के विद्यार्थियों द्वारा ऑन द जॉब ट्रेनिंग के माध्यम से गांवों के विद्यार्थियों को योग सिखाने की सराहना की। बुर्जा और धतीर गांव के विद्यार्थियों ने योगासन के कठिन करतब दिखा कर सबको चकित कर दिया।
कुलसचिव प्रोफेसर ज्योति राणा ने कहा कि अंत:करण को ईश्वरीय अनुभूति से जोड़ना ही योग है। उन्होंने सभी को नित्य योग करने के लिए प्रेरित किया। प्रोफेसर ज्योति राणा ने सबका उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि शीघ्र ही अत्याधुनिक योगशाला बन कर तैयार होगी।
राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी डॉ. नकुल ने सभी का आभार व्यक्त किया और डॉ. प्रीति ने मंच संचालन किया।
इस अवसर पर अधिष्ठाता प्रोफेसर ऋषिपाल, प्रोफेसर ए के वाटल, उप कुलसचिव डॉ. ललित शर्मा, प्राचार्य डॉ. जलबीर सिंह, सहायक कुलसचिव सोमवीर सिंह, एसडीओ नरेश संधू, एसडीओ धीरज कंबोज और वेब एडमिनिस्ट्रेटर प्रवीण आर्य सहित काफी संख्या अधिकारियों, शिक्षकों और विद्यार्थियों ने योग किया।
योगासन करते कुलपति डॉ. राज नेहरू एवं कुलसचिव प्रोफेसर ज्योति राणा।
योगासन करते विद्यार्थी।