दिव्य ज्योति जागृति संस्थान द्वारा भगवान शिव कथा में साध्वी सुश्री दिव्या भारती जी ने शिव विवाह प्रसंग का किया वर्णन
फिरोजपुर 18 सितंबर [कैलाश शर्मा जिला विशेष संवाददाता]:=
दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान द्वारा मंडी पंजेकी,जलालाबाद में आयोजित भगवान शिव कथा में श्री आशुतोष महाराज जी की शिष्या साध्वी सुश्री दिवेशा भारती जी ने शिव विवाह प्रसंग का वर्णन किया। इस अवसर पर साध्वी भावअर्चना भारती, साध्वी संदीप भारती,साध्वी शब्दप्रिया भारती और साध्वी यशा भारती जी ने सुमधुर भजनों का गायन किया।सभी प्रभुभक्त नाच गाकर शिव विवाह में शामिल हुए।साध्वी दिवेशा भारती जी ने कहा कि भगवान शिव कथा का पान कर और कथा के सार को जानकर बड़े से बड़े पापी व दुरात्मा को भी मुक्ति प्राप्त होती है। कथा को श्रवण कर जीवात्मा के कल्याण का मार्ग प्रशस्त होता है। कथा में डॉ मलकीत थिंद,सुखदयाल संधा, मनोहर लाल कुक्कड़,राकेश मुटनेजा व विपिन अनेजा ने दीप प्रज्वलित कर आशिर्वाद प्राप्त किया। कथा व्यास साध्वी दिवेशा भारती जी ने संगत को पूर्ण गुरु की परिभाषा बताते हुए कहा कि पूर्ण गुरु मानव को दिव्य नेत्र प्रदान कर उसके भीतर ही स्थित ईश्वर का साक्षात्कार करवाते हैं।जिस प्रकार स्वामी विवेकानंद जी को श्री रामकृष्ण परमहंस जी ने,अर्जुन को भगवान श्री कृष्ण ने एवं मीरा को श्री गुरु रविदास महाराज जी ने तीसरा नेत्र प्रदान कर ईश्वर का बोध करवाया।कथा में देशभक्तों के बलिदानों को याद करते हुए देशभक्ति गीत भी गाय गए। स्वर्ग धाम सोशल वेलफेयर सोसायटी मण्डी पंजेकी,हजारा राम, अविनाश मुटनेजा,विपिन कुमार एवम सुनील वर्मा ने सन्त समाज को माल्यार्पण कर वस्त्र भेंट किए। कथा में संस्थान की ओर से स्वामी धीरानन्द,साध्वी अंबालिका भारती,साध्वी सोमप्रभा भारती,साध्वी वन्दना भारती व महात्मा तरुण भी विशेष रुप से शामिल रहे। स्वामी धीरानंद जी ने सभी सहयोगी सज्जनों और संस्थाओं का आभार व्यक्त किया। कथा का समापन मंगल आरती से किया गया।आरती में ललित गुप्ता,ओम प्रकाश नंबरदार,सुभाष मुत्ती, सुखदेव चंद,सतनाम चंद, गुरमेल वारवल व बलदेव बट्टी विशेष रूप से शामिल रहे।कथा के बाद सारी संगत के लिए भंडारे की व्यवस्था की गई।