हमारे शौर्य, बलिदान और एकता का प्रतीक है तिरंगा: कुलपति प्रो. धीमान

श्री कृष्ण आयुष विश्वविद्यालय में तिरंगा यात्रा का आयोजन।
कुरुक्षेत्र, प्रमोद कौशिक 19 अगस्त : श्री कृष्ण आयुष विश्वविद्यालय की एनएसएस यूनिट द्वारा 79वें स्वतंत्रता दिवस के उपलक्ष्य में तिरंगा यात्रा का आयोजन किया गया। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. वैद्य करतार सिंह धीमान ने यात्रा का शुभारंभ किया। कुलपति प्रो. वैद्य करतार सिंह धीमान ने कहा कि “तिरंगा केवल हमारे राष्ट्र का ध्वज नहीं है, बल्कि यह हमारे शौर्य, बलिदान और एकता का प्रतीक है। तिरंगे की शान के लिए हमारे वीर सैनिक सीमा पर दिन-रात डटे रहते हैं और उनकी बदौलत हम सुरक्षित जीवन जी रहे हैं। उन्होंने विद्यार्थियों का आह्वान किया कि वे देशहित को सर्वोपरि मानते हुए शिक्षा, सेवा और समाज के विकास में अपना योगदान दें। कुलपति ने कहा कि हर भारतीय का कर्तव्य है कि भारत माता की शान को बनाए रखने के लिए तन, मन और धन से अपना कुछ न कुछ योगदान जरूर दें।
आत्मसम्मान और राष्ट्रीय एकता का प्रतीक है तिरंगा: प्रो. तोमर
कुलसचिव प्रो. ब्रिजेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि तिरंगा हमारे आत्मसम्मान और राष्ट्रीय एकता का प्रतीक है। तिरंगा हमें सदैव यह प्रेरणा देता है कि हम राष्ट्रहित को सर्वोपरि रखें। उन्होंने कहा कि श्री कृष्ण आयुष विश्वविद्यालय केवल शिक्षा का ही केंद्र नहीं है, बल्कि यहां विद्यार्थियों में संस्कार, देशभक्ति और सेवा भाव का संचार करना भी हमारी जिम्मेदारी है। उन्होंने विद्यार्थियों का आह्वान किया कि वे पढ़ाई के साथ-साथ राष्ट्र निर्माण में भी अपनी अहम भूमिका निभाएं और समाज के लिए उपयोगी नागरिक बनें।
स्वतंत्रता सेनानियों को अर्पित किए पुष्प।
यात्रा की शुरुआत विश्वविद्यालय परिसर से हुई। हाथों में तिरंगा लिए विद्यार्थी “भारत माता की जय, वंदे मातरम, जय हिंद, तिरंगा हमारी शान है” जैसे नारे लगाते हुए आगे बढ़े। रास्ते भर देशभक्ति गीतों और नारों से वातावरण गुंजायमान हो उठा। तिरंगा यात्रा उद्यम सिंह चौक पहुंची, जहां विद्यार्थियों और शिक्षकों ने स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को पुष्प अर्पित कर नमन किया। इसके पश्चात यात्रा सर्किट हाउस होते हुए वापस विश्वविद्यालय परिसर में पहुंची। इस अवसर पर आयुर्वेद अध्ययन एवं अनुसंधान संस्थान के प्राचार्य प्रो. आशीष मेहता, एनएसएस यूनिट के कोऑर्डिनेटर डॉ. पीसी मंगल, प्रोग्राम इंचार्ज डॉ. सुरेंद्र सहरावत, डॉ. कृष्ण कुमार, प्रो. शुभा कौशल, डॉ. रजनीश सिंह, पवन नांदल सहित बड़ी संख्या में शिक्षक व विद्यार्थी उपस्थित रहे।