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श्री मार्कंडेश्वर महादेव मंदिर में वैशाख अमावस्या पर दक्षिण भारत परम्परा अनुसार हुआ शनि जयंती पूजन।
हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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वैशाख अमावस्या तथा सूर्य ग्रहण के अवसर पर पूजन का विशेष महत्व : महंत जगन्नाथ पुरी।
कुरुक्षेत्र, 20 अप्रैल : तीर्थों की संगमस्थली में मारकंडा नदी के तट पर श्री मार्कंडेश्वर महादेव मंदिर ठसका मीरां जी में वैशाख अमावस्या पर दक्षिण भारत परम्परा अनुसार शनि जयंती पूजन का विधिवत मंत्रोच्चारण के साथ पूजन हुआ। साथ ही सूर्य ग्रहण पूजन भी हुआ।
अखिल भारतीय मार्कंडेश्वर जनसेवा ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत जगन्नाथ पुरी एवं अन्य संतों के सान्निध्य में शनि शिला पर विधिवत मंत्रोच्चारण के साथ सूर्य पुत्र शनि देव का पूजन एवं तेलाभिषेक किया गया। महंत जगन्नाथ पुरी ने बताया कि वैशाख अमावस्या के दिन ही वर्ष का पहला सूर्य ग्रहण भी है। आज ही दक्षिण भारत परम्परा अनुसार शनि जयंती भी है। वैशाख अमावस्या तथा सूर्य ग्रहण के अवसर पर पूजन का विशेष महत्व है। उन्होंने बताया कि ऐसे अवसर पर श्रद्धालुओं ने असहाय लोगों की मदद करने के लिए उन्हें भोजन भी करवाया। भूखे को भोजन करवाने से शनिदेव प्रसन्न होते हैं। महंत जगन्नाथ पुरी ने बताया न्याय के देवता शनिदेव की कृपा पाने का सर्वश्रेष्ठ माना गया है। इस अवसर स्वामी संतोषानंद, विजय गुप्ता, धीरज गुप्ता, नसीब सिंह, सुक्खा सिंह, नाजर सिंह, बिल्लू पुजारी, विद्यावती, सोनिया, मोनिका व रजनी अग्रवाल भी मौजूद रहे।
शनि मंत्र जाप करते हुए महंत जगन्नाथ पुरी।