फील्ड में काम करेंगी विधान सभा की समितियां।
हरियाणा संपादक – वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक।
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जिस भी जिले में जाएंगी, वहां के सभी विधायक होंगे विशेष आमंत्रित सदस्य।
विस अध्यक्ष ज्ञान चंद गुप्ता ने सिखाएं गुर, कहा-जनता के प्रति जवाबदेही को समर्पित भाव से निभाएं।
केंद्र सरकार की चिट्टी पढ़ कर सुनाई, कहा- अफसरों को हर हाल में मानना होगा विधायकों के प्रति प्रोटोकॉल।
चंडीगढ़, 2 मई : हरियाणा विधानसभा के प्रक्रिया तथा कार्य संचालन संबंधी नियमों के तहत वर्ष 2023-24 के लिए गठित समितियों का अब नियमित बैठकों के साथ-साथ फील्ड में जोर रहेगा। इन समितियों की कार्यशैली में निखार लाने के लिए विधानसभा अध्यक्ष ज्ञान चंद गुप्ता ने मंगलवार को सेक्टर 3 स्थित एम.एल.ए. हॉस्टल में सभी सभापतियों के साथ विशेष बैठक की। उन्होंने बताया कि इस बार कमेटियों के गठन के वक्त एक तिहाई सभापति नए बनाए गए हैं, लेकिन इन कमेटियों के अधिकारी नहीं बदले गए हैं।
इस दौरान उन्होंने नवनियुक्त सभापतियों को विधायी कामकाज के गुर बताएं और साथ ही हिदायत दीं कि विधायी कामकाज के सबसे महत्वपूर्ण घटक होने के कारण हम सबकी जनता के प्रति जवाबदेही ज्यादा है। इस जिम्मेदारी के निर्वहन के लिए समितियां सिर्फ विधान भवन में बैठकों तक सीमित न रहे, बल्कि उन्हें प्रदेश भर में चल रही विकास परियोजनाओं का निरीक्षण करना चाहिए। समिति सदस्यों को यह काम पूरे मनोयोग और समर्पण भाव से करना होगा।
विस अध्यक्ष ज्ञान चंद गुप्ता ने कहा कि सभी समितियां अधिक से अधिक से फील्ड दौरे करें। ये समितियां जिस भी जिले में बैठकें करेंगी, वहां के सभी विधायक बैठकों में विशेष आमंत्रित सदस्य होंगे। गुप्ता ने कहा कि जनता की मेहनत की कमाई से सरकारी खजाने में आने वाले धन के अपव्यय को रोकने के लिए समितियों को अधिक सतर्कता से काम करना होगा। उन्होंने बैठक में शामिल समिति अधिकारियों से कहा कि गत वर्ष सरकार को भेजी गई सिफारिशों पर समयबद्ध तरीके से एक्शन टेकन रिपोर्ट मंगवानी सुनिश्चित करें। ज्ञान चंद गुप्ता ने कहा कि समिति की बैठकों में होने वाले निर्णयों का क्रियान्वयन सुनिश्चित करने के लिए फॉलोअप अत्यंत आवश्यक है।
उन्होंने केंद्र सरकार की ओर से जारी पत्र का हवाला देते हुए प्रदेश सरकार के अफसरों से विधायकों के प्रति प्रोटोकॉल का पालन करवाने पर भी जोर दिया। गुप्ता ने कहा कि लोकतांत्रिक व्यवस्था में जनप्रतिनिधियों का विशिष्ट महत्व है। इसलिए उनका मान सम्मान बनाए रखना अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने कहा कि प्रशासन की ओर से होने वाले सार्वजनिक समारोहों में भी विधायकों के प्रति प्रोटोकॉल का पालन जरूरी है।
इस दौरान अनेक सभापतियों ने बैठकों में शामिल होने के लिए सदस्यों के यात्रा खर्च और दैनिक भत्तों में बढ़ोतरी की मांग भी की। लोक लेखा समिति के सभापति वरुण चौधरी ने कहा कि समितियों की बैठक में प्रदेश के महत्वपूर्ण मसलों पर चर्चा होती है, इसलिए इनकी जानकारी मीडिया के माध्यम से जनता तक पहुंचनी चाहिए। याचिका समिति के सभापति घनश्याम दास अरोड़ा ने कहा कि गत उनकी समिति की बैठकों में सदस्यों की संख्या करीब 90 फीसदी तक रही है, जो कि अत्यंत सराहनीय है। बैठक में विधायिका के लिए वित्तीय स्वायतत्ता की मांगी भी उठी।
बैठक में विशेषाधिकार समिति के सभापति विधायक नरेन्द्र गुप्ता, लोक लेखा समिति के सभापति वरुण चौधरी, प्राक्कलन समिति के सभापति मोहन लाल बड़ौली, अनुसूचित जातियों, जन जातियों तथा पिछड़े वर्गों के कल्याण के लिए गठित समिति के सभापति सत्य प्रकाश जरावता, सरकारी आश्वासनों के बारे में समिति के सभापति भारत भूषण बतरा, याचिका समिति के सभापति घनश्याम दास अरोड़ा, स्थानीय निकायों तथा पंचायती राज संस्थाओं सम्बन्धी समिति के सभापति राम कुमार कश्यप, शिक्षा, तकनीकी शिक्षा, व्यावसायिक शिक्षा, चिकित्सा शिक्षा तथा स्वास्थ्य सेवाएं सम्बन्धी विषय समिति की सभापति नैना सिंह चौटाला, विधान सभा सचिव राजेंद्र कुमार नांदल समेत अनेक अधिकारी उपस्थित रहे।
चंडीगढ़ के सेक्टर 3 स्थित हरियाणा एम.एल.ए. हॉस्टल में मंगलवार को विधान सभा की समितियों के चेयरपर्सन की बैठक को संबोधित करते विस अध्यक्ष ज्ञान चंद गुप्ता।