नेशन फर्स्ट, स्वदेशी मस्ट : सतीश कुमार।
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श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय में श्री गुरु नानक देव सेंटर फॉर एक्सीलेंस फॉर इन्नोवेटिव लीडरशिप एंड एंटरप्रेन्योरशिप सेल द्वारा किया गया “उत्तिष्ठ” कार्यक्रम का आयोजन।
मुख्यातिथि सतीश कुमार और कुलपति डॉ. राज नेहरू ने विभिन्न क्षेत्रों में उद्यमिता को अपनाने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया।
पलवल : स्वदेशी जागरण मंच के अखिल भारतीय सह संगठक सतीश कुमार ने कहा कि उद्यमिता अंदर से अधिकतम को बाहर निकालती है। उद्यमिता सामान्य व्यक्ति को भी ऊंचे स्थान पर पहुंचा सकती है। वह बुधवार को श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय में श्री गुरु नानक देव सेंटर फॉर एक्सीलेंस फॉर इन्नोवेटिव लीडरशिप एंड एंटरप्रेन्योरशिप सेल द्वारा आयोजित “उत्तिष्ठ” कार्यक्रम में मुख्यातिथि के रूप में बोल रहे थे। यहां पहुंचने पर विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. राज नेहरू ने उनका भव्य स्वागत किया और अत्याधुनिक प्रयोगशालाओं का भ्रमण करवाया। मुख्यातिथि सतीश कुमार और कुलपति डॉ. राज नेहरू ने विभिन्न क्षेत्रों में उद्यमिता को अपनाने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया।
इस मौके पर मुख्यातिथि सतीश कुमार ने कहा कि सब प्रकार के कौशल का प्रकटीकरण ब्रह्मत्व के कारण होता है। कौशल और उद्यमिता के उद्भव से जीवन की यात्रा सफल होती है। इसके माध्यम से हम अपनी गुणवत्ता को बाहर प्रकट करते हैं। स्वदेशी जागरण मंच के अखिल भारतीय सह संगठक सतीश कुमार ने कहा कि उद्यमिता को विकसित करने के लिए श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय सर्वश्रेष्ठ स्थान है। उन्होंने विद्यार्थियों के साथ सफलता के मंत्र साझा करते हुए कहा कि जल्दी कमाना शुरू करें और सीखते-सीखते कमाएं। रोजगार ढूंढने की बजाय रोजगार देने वाले बनें। बड़ा सोचें और नया सोचें। साथ ही उन्होंने कहा कि जुनूनी बनें और जोखिम लेने वाले बनें। अंत में उन्होंने कहा कि नेशन फर्स्ट, स्वदेशी मस्ट।
श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. राज नेहरू ने कहा कि विश्वविद्यालय ने उद्यमिता का बीज डाला है। यह बीज समय के साथ अंकुरित होंगे। उन्होंने कहा कि भविष्य निर्माण के लिए वर्तमान में काम करना जरूरी है। डॉ. राज नेहरू ने इलेक्ट्रिक व्हीकल बनाने की विद्यार्थियों की पहल की सराहना करते हुए कहा कि इससे उनको कई प्रकार के कौशल सीखने को मिलेंगे। कुलपति डॉ. राज नेहरू ने कहा कि विद्यार्थी समस्याओं को चिन्हित करें, उनका सामना करें और नए कौशल सीखें। छोटे- छोटे प्रयोग करना सीखें। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी आइडिया पर काम करें, जोखिम विश्वविद्यालय का होगा। कुलपति डॉ. राज नेहरू ने कहा कि हम सुपर-30 के आईडिया पर काम कर रहे हैं। आने वाले दिनों में श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय उद्यमिता की बड़ी धुरी बनेगा।
विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रो. आर एस राठौड़ ने अतिथियों का आभार ज्ञापित किया। इससे पूर्व अतिथियों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। स्किल इनोवेटर्स फाउंडेशन के संयुक्त निदेशक अम्मार खान और इंडस्ट्री इंटीग्रेशन के संयुक्त निदेशक विनीत सूरी ने उद्यमिता की संभावनाओं और भविष्य की योजनाओं पर चर्चा की। डॉ. भावना रूपराई ने मंच संचालन किया।
इस अवसर पर स्वदेशी जागरण मंच की ओर से लक्ष्मण जी, डीन एकेडमिक अफेयर्स प्रो. ज्योति राणा, श्री गुरु नानक देव सेंटर फॉर एक्सीलेंस फॉर इन्नोवेटिव लीडरशिप एंड एंटरप्रेन्योरशिप सेल की प्रभारी डॉ. मुक्ता संधू, प्रो. सुरेश कुमार, प्रो. आशीष श्रीवास्तव, प्रो. रणजीत चौहान, प्रो. निर्मल सिंह, सहायक कुल सचिव डॉ. राजेश कुमार और ओएसडी संजीव तायल के अलावा काफी संख्या में शिक्षक, अधिकारी और विद्यार्थी उपस्थित थे।
शिक्षकों को किया सम्मानित।
स्वदेशी जागरण मंच के अखिल भारतीय सह संगठक सतीश कुमार ने बुधवार को श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय सीनियर सेकेंडरी स्कूल में आयोजित सम्मान समारोह में शिक्षकों और स्टाफ के सदस्यों को सम्मानित किया। दसवीं कक्षा का परीक्षा परिणाम शत प्रतिशत रहने पर शिक्षकों को मुख्य अतिथि सतीश कुमार और विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. राज नेहरू ने प्रमाण पत्र एवं स्मृति चिन्ह देकर पुरस्कृत किया। इससे पूर्व विद्यालय के प्राचार्य डॉ. जलबीर सिंह ने प्रतिवेदन के रूप में स्कूल की उपलब्धियां अतिथियों के समक्ष रखी।
उद्यम अपनाने वाले विद्यार्थी को पुरस्कृत करते मुख्यातिथि सतीश कुमार और कुलपति डॉ. राज नेहरू।
श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय सीनियर सेकेंडरी स्कूल के स्टाफ को पुरस्कृत करते मुख्य अतिथि सतीश कुमार एवं कुलपति डॉ. राज नेहरू।