आदि कर्मयोगी अभियान अंतर्गत विभिन्न गतिविधियों का आयोजन

उत्तर बस्तर कांकेर, 24 सितम्बर 2025/ आदि कर्मयोगी अभियान जिले के सभी सातों विकासखंडों के 552 जनजातीय बाहुल्य ग्रामों में 17 सितम्बर से 02 अक्टूबर तक विभिन्न गतिविधियां आयोजित किया जा रहा है। अभियान के तहत् लाईन विभागों वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, स्कूल शिक्षा विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के साथ आदि कर्मयोगी अभियान के क्रियान्वयन हेतु आवश्यक पहल की जा रही है।
आदि सेवा पर्व, सेवा पखवाड़ा जिले के सभी धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान के तहत् चिन्हांकित 552 ग्रामों में मनाया जा रहा है। इस दौरान ब्लॉक स्तरीय मास्टर ट्रेनर्स, आदि सहयोगी, आदि साथी स्वयंसेवी संस्थान के प्रतिनिधि तथा ग्रामवासियों की सहभागिता से ग्राम का भ्रमण कर समस्याओं की जानकारी ले रहे हैं। ग्राम की जरूरतों पर चर्चा कर विलेज विजनिंग एक्सरसाइज के द्वारा विभिन्न क्षेत्रों में क्रिटिकल गैप की पहचान कर सहमति के आधार पर सहभागी रूप से विलेज एक्शन प्लान तथा सामाजिक संसाधन मानचित्र ‘आज की स्थिति में व भविष्य के लिये’ तैयार करने की कार्यवाही की जाएगी, जिसमें ग्राम के युवाओं एवं महिलाओं की भी सक्रिय भूमिका होगी। यह कार्यवाही 26 सितंबर तक पूर्ण की जावेगी। गांधी जयंती के अवसर पर 02 अक्टूबर को आयोजित विशेष ग्राम सभा में प्रत्येक ग्राम में तैयार किये गये विलेज एक्शन प्लान पर चर्चा एवं अनुमोदन की कार्यवाही किया जाएगा। इस दिन आयोजित विशेष ग्राम सभा में मुख्यमंत्री द्वारा आदि कर्मयोगी अभियान पर ग्रामों को प्रेषित की जाने वाली पाती का वाचन भी किया जाएगा। साथ ही आदि सहयोगी, आदि साथी एवं ग्राम सभा के सभी सदस्यों एवं अन्य सहभागियों को अपने ग्राम को विकसित करने हेतु शपथ दिलाई जाएगी।
आदि सेवा पर्व के दौरान जिले के सभी 552 ग्रामों में आदि सेवा केन्द्र की स्थापना की जा रही है। सभी छात्रावास-आश्रमों में स्वच्छता पखवाड़ा भी मनाया जा रहा है। साथ ही विकसित भारत एवं आदि कर्मयोगी अभियान पर चित्रकला, निबंध लेखन आदि कार्यक्रम का आयेजन किया जा रहा है। आदि सेवा केन्द्रों में सभी विभागों की शासकीय योजनाओं को दर्शाया जायेगा तथा समस्याओं का निदान, शिकायत निवारण एवं सेवाओं का प्रदाय जैसे-आधार कार्ड, आयुष्मान कार्ड, वन अधिकार पत्र, भू-अभिलेख आदि भी सुनिश्चित किया जाएगा।