बिहार:कोरोना संक्रमण से अतिरिक्त सुरक्षा की गारंटी है प्रीकॉशन डोज

कोरोना संक्रमण से अतिरिक्त सुरक्षा की गारंटी है प्रीकॉशन डोज

-दोनों डोज लेने के बाद संक्रमित हुए पवन को रोग से उबरने में नहीं हुई कोई परेशानी
-जितने अधिक लोग होंगे टीकाकृत, संक्रमण का खतरा होगा उतना कम

अररिया

देशभर में बीते एक साल से कोरोना टीकाकरण की प्रक्रिया चल रही है। वैक्सीन की लगभग 150 करोड़ खुराक की खपत हो चुकी है। जिले में भी अभियान निरंतर प्रगति पर है। विभिन्न आयु वर्ग के लोगों को लगभग 24.87 लाख टीका की डोज लगायी जा चुकी है। बावजूद इसके कुछ लोगों के मन में अब भी टीकाकरण के प्रति संदेह है। पूर्ण टीकाकरण के बावजूद लोग संक्रमित हो रहे हैं। ऐसे लोगों की सूची में मेरा नाम भी शामिल है। लेकिन सच्चाई यह है कि पूर्ण टीकाकरण के बावजूद दोबारा संक्रमित होने के बाद ही मुझे कोरोना टीका का महत्व समझ आया। हाल ही में कोरोना संक्रमण को मात दे चुके अररिया पुलिस बल के सिपाही पवन कुमार बताते हैं कि टीका लेने से पूर्व भी मैं संक्रमित हुआ था। संक्रमण से उबरने में 14 दिन से अधिक का वक्त लगा। संक्रमण से उबरने के बावजूद पूर्णत: ठीक होने में काफी जद्दोजहद करनी पड़ी। लेकिन पूर्ण टीकाकरण के बाद संक्रमण की चपेट में आने पर इससे उबरने में मुझे काफी कम समय लगा। तब जाकर मुझे टीका का महत्व समझ में आया।

संक्रमित होने के मात्र तीन दिन बाद हुए स्वस्थ :

प्रीकॉशन डोज लेने अररिया सदर अस्पताल परिसर स्थित केंद्र पर पहुंचे पवन कुमार ने बताया कि ड्यूटी में अपनी व्यस्तता की वजह से प्रीकॉशन डोज लगाने में थोड़ी देरी हुई। अन्यथा पहले दिन ही मैंने प्रीकॉशन डोज लेने की ठान रखी थी। पवन बताते हैं कि दोनों डोज लेने के बाद संक्रमित होने पर उन्होंने तुरंत खुद को आइसोलेट कर लिया। रोग के सामान्य लक्षण दिख रहे थे। बचाव संबंधी घरेलू उपाय आजमाना शुरू कर दिया। इससे उन्हें महज एक दिन के अंतराल में ही काफी राहत महसूस होने लगी। तीसरे दिन तक वो पूर्णत: स्वस्थ महसूस कर रहे थे।

टीकाकरण के बाद संक्रमित होने पर नहीं हुई कोई परेशानी :

पवन बताते हैं कि उन्हें यह समझते देर नहीं लगी कि टीका की दोनों डोज लेने के कारण ही इस बार संक्रमित होने पर उन्हें कोई खास परेशानी का सामना नहीं करना पड़ा। इसी वजह से वो रोग से जल्द उबरने में भी कामयाब हो सके। उन्होंने बताया कि अपने ड्यूटी के क्रम में उन्हें हर दिन कई लोगों के संपर्क में आना होता है। संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए सरकार ने चिह्नित लोगों की सुरक्षा के लिये प्रीकॉशन डोज का प्रावधान किया है। इसलिये यह जरूरी है कि अग्रिम पंक्ति में खड़े रह कर लोगों को अपनी सेवा देने वाले लोग इसके महत्व को समझें और प्रीकॉशन डोज अवश्य लगायें।

संक्रमण से अतिरिक्त सुरक्षा प्रदान करता है प्रीकॉशन डोज :

जिला प्रतिरक्षा पदाधिकारी डॉ मो मोईज ने कहा कि प्रीकॉशन डोज संक्रमण के खतरों से अतिरिक्त सुरक्षा की गारंटी है। टीका का काम ही शरीर में रोग प्रतिरोधात्मक क्षमता का विकास करना है। शरीर अंदर से जितना मजबूत होगा। उतनी मजबूती से हम किसी रोग का मुकाबला करने में सक्षम होंगे।

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